शहर के विधायक है उद्योगमंत्री , लेकिन फिर भी औद्योगिक क्षेत्र में न तो अच्छी सड़कें हैं, न साफ सफाई न ही ग्रीनबेल्ट। एफआईए का दल नगर निगम कमिश्नर से मिला।
Citymirrors.in-फरीदाबाद इंडस्ट्रीज एसोसिएशन के पदाधिकारियों ने शुक्रवार को नगर निगम मुख्यालय में कमिश्नर अनीता यादव के साथ बैठक की और औद्योगिक क्षेत्र की समस्याओं के बारे में अवगत कराया। उद्यमियों ने कहाकि शहरी क्षेत्रों में सड़कों की हालत बेहद अच्छी है। लेकिन औद्योगिक क्षेत्र में न तो अच्छी सड़कें हैं, न साफ सफाई न ही ग्रीनबेल्ट। हमें भी एनआईटी जैसी सड़कें उपलब्ध कराई जाए। औद्योगिक क्षेत्र में हुए अतिक्रमण को नगर निगम हटवाए, हम ग्रीनबेल्ट डेवलप करने को तैयार हैं।उद्यमियों ने कहा हम सरकार को मोटा टैक्स देते हैं, लेकिन हमें सुविधाएं नहीं मिल रही हैं। नगर निगम हमारा सहयेाग करे, हम आपका साथ देंगे।सब मिलकर शहर को हरा भरा बनाने में पूरा सहयोग करेंगे। उद्यमियों ने कहा कि पूरे शहर में नालों में पाॅलिथीन की भरमार है। इससे लगता ही नहीं कि नालों की सफाई की जा रही है। निगम कमिश्नर ने उद्यमियों की समस्यों का निदान करने के लिए चीफ इंजीनियर डीआर भास्कर को निर्देश दिया। बैठक में इंजीनियरिंग विभाग के एक्सईएन और एसडीओ भी मौजूद रहे।निगम कमिश्नर के साथ चली करीब एक घंटे की बैठक में उद्यमियों ने एक एक कर अपनी समस्याएं रखी। उद्यमियों ने बताया कि औद्योगिक क्षेत्रों में कई स्थानों पर भारी मात्रा में कूड़ा जमा रहता है। कभी उसकी उठान नहीं कराई जाती। उन्हांेने सेक्टर सेक्टर 24 और एनआईटी एरिया का हवाला भी दिया। पदाधिकारियों ने कहाकि जब कोई विदेशी विजिटर्स उनके यहां आता है तो गंदगी आदि उसके मन में शहर की छवि बहुत अच्छी नहीं होती। खुद हमें भी शर्म आती है। इसलिए बेहतर होगा कि सभी औद्योगिक क्षेत्रों में जमा कूड़ा तत्काल हटवाया जाए और वहां साफ सफाई सुनिश्चित की जाए।उद्यमियों ने कहा कि सेक्टरों और औद्योगिक क्षेत्रों में कई स्थानों पर अतिक्रमण और अवैध कब्जे हुए पड़े हैं। नगर निगम उन कब्जों को हटवाए। हम लोग मिलकर ग्रीनबेल्ट विकसित करेंगे। शहर को हरा भरा रखने की जिम्मेदारी हम सब की है। उद्यमियों ने नगर निगम प्रशासन के साथ मिलकर जुलाई के महीने में अभियान चलाकर पौधरोपण करने का भी भरोसा दिया। निगम कमिश्नर अनीता यादव ने तोड़फोड़ ब्रांच के एक्सईएन ओमबीर सिंह को निर्देश दिया कि वह हुडा अधिकारियों के तालमेल करके सेक्टरों से अवैध कब्जे हटवाएं। साथ ही औद्योगिक क्षेत्रों में भी हुए अतिक्रमण और कब्जे हटाए जाएं।उद्यमियों ने कहा कि सरकार को यहां की इंडस्ट्रीज मोटा टैक्स देती है लेकिन सुविधाओं के नाम पर सिर्फ खानापूर्ति होती है। उन्होंने कहा कि एनआईटी क्षेत्र की अधिकांश सड़कें बहुत ही बेहतरीन बनाई गई है। चौड़ी सड़कें और सफाई देखकर मन खुश हो जाता है। निगम प्रशासन हमारे औद्योगिक क्षेत्रों में ऐसी सड़कें क्यांे नहीं बनवाता। इंडस्ट्रीज को भी ऐसी ही सड़कें चाहिए। ताकि बाहर से आने वाले विदेशी बायर को यहां लाने में कोई शर्मिंदगी न हो। उद्यमी केसी लखानी ने बताया कि सेक्टर 24 के प्लाट नंबर 276 से 297 तक उनकी लखानी अरमान ग्रुप ने ग्रीनबेल्ट डेवलप किया था। लेकिन यहां हो रहे सीवरेज ओवरफ्लो ने उसे बर्बाद कर दिया। संबंधित एक्सईएन को समस्या के बारे में अवगत कराया गया लेकिन समाधान आज तक नहीं हुआ। प्रधान एफआईए संजीव खेमका ने कहा कि सरकार को इतना टैक्स अदा करने के बाद भी औद्योगिक क्षेत्रों को पानी नहीं मिल रहा है। ये समस्या पिछले ढाई महीने से और बढ़ गई है। कर्मचािरयों को पानी पिलाने के लिए प्राइवेट टैंकरों से पानी मंगवाना पड़ा रहा है। आखिर कब तक ऐसे चलता रहेगा। स्थाई हल क्यों नहीं निकाला जा रहा है। इस पर निगम कमिश्नर अनीता यादव ने एक्स्ईएन ओमबीर से पूछा। ओमबीर ने बताया कि जब सेक्टरों में पानी नहीं पहुंच पा रहा है तो इंडस्ट्रीज को पानी मिल पाएगा। पहली प्राथमिकता सेक्टरवासियों को पानी उपलब्ध कराने की है। गर्मी में पानी की मांग बढ़ जाती है। इसलिए पानी की समस्या है। कमिश्नर ने औद्योगिक क्षेत्र सेक्टर 24 में पानी की उपलब्धता की जांच कर टयूबवेल लगाने का आदेश दिया। उद्यमियों ने औद्योगिक क्षेत्र में 29 जून को प्रॉपर्टी टैक्स कैंप लगाने का सुझाव दिया जिस पर कमिश्नर ने सहमति जताई। बैठक में प्रधान एफआईए संजीव खेमका ,चीफ इंजीनियर डीआर भास्कर, उद्यमी केसी लखानी, कर्नल एसके कपूर, नवनीत चावला, सज्जन कुमार, एक्सईएन वीके कर्दम, राजेश शर्मा, श्याम सिंह, एसडीओ नवल सिंह समेत अन्य अधिकारी मौजूद रहे